राष्ट्रीय बालिका दिवस कब और क्यों मनाया जाता है?
वर्ष 2008 से ही भारत में हर साल 24 जनवरी को आयरन लेडी कही जाने वाली श्रीमती इंदिरा गांधी जी द्वारा प्रथम महिला प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ लिए जाने के दिन को रेखांकित करते हुए राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाया जाता है, इसका उद्देश्य बालिकाओं को उनके अधिकारों के बारे में जागरूक करना है। इस साल 2025 में 24 जनवरी को शुक्रवार के दिन हम 17वां नेशनल गर्ल चाइल्ड डे मनाने जा रहे हैं।
लड़कियों को सशक्त बनाने और उनके लिए समानता सुनिश्चित करने के लिए वैश्विक स्तर पर हर साल 11 अक्टूबर को अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस मनाया जाता है। 2024 में इसे ‘भविष्य के लिए बालिकाओं का दृष्टिकोण‘ विषय के साथ मनाया गया। इस खास मौके पर हम आपके साथ बालिका दिवस की शुभकामनाएं, संदेश, पोस्टर, नारे, कोट्स और शायरी फोटोस साझा करने जा रहे हैं।
नाम: | राष्ट्रीय बालिका दिवस (National Day of Girl Child) |
शुरूआत: | वर्ष 2008 में |
तिथि: | 24 जनवरी (वार्षिक) |
उद्देश्य: | लड़कियों को उनके अधिकारों के आधार पर लैंगिक असमानता के बारे में जागरूक करना। |
सम्बंधित व्यक्ति: | श्रीमती इंदिरा गाँधी |
नेशनल गर्ल चाइल्ड डे की शुरुआत (इतिहास)
समाज में लड़कियों के साथ होने वाले भेदभाव को देखते हुए भारत सरकार ने बेटियों को उनके अधिकारों के बारे में जागरूक करना और लैंगिक असमानता को दूर कर समाज में समानता लाने के उद्देश्य से प्रतिवर्ष 24 जनवरी को राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाने की शुरुआत की थी। इस दिन नारी शक्ति के तौर पर श्रीमती इंदिरा गांधी को याद किया जाता है क्योंकि उन्होंने इसी दिन वर्ष 1966 में भारत की पहली महिला प्रधानमंत्री के तौर पर अपना कार्यभार संभाला था।
हमारे देश में आज भी लड़कियों को समाज में असमानता का सामना करना पड़ता है ऐसे में देश भर में कन्याओं को समर्थन और अवसर प्रदान करना तथा उनके अधिकारों, उनकी शिक्षा, स्वास्थ्य और पोषण के बारे में जागरूकता बढ़ाना भी इस दिवस का मुख्य लक्ष्य है।
बालिका दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं शायरी फोटोज (Girl Child Day Wishes Quotes Images)
आओं रुढ़िवादी विचारों की जंजीरों को तोड़े,
हर बालिकाओं को शिक्षा दें और उन्हें मुख्यधारा से जोड़े।अपनी दुनिया ना स्वयं मिटाओ, होश में आओ बेटी बचाओ।
जीने का उसको भी अधिकार,
चाहिए बस थोड़ा सा प्यार,
जन्म से पहले उसे ना मारो,
कभी तो मन में इसे विचारों,
शायद वही बन जाए सहारा,
डूबते को मिल जाए किनारा।बेटी कुदरत का उपहार,
नहीं करो इसका तिरस्कार,
वही माता-पिता है सबसे महान,
जो दे बेटियों को पहचानआप की लालसा है बेकार,
बिन बेटी ना चले संसार।
बालिका दिवस की शुभकामनाएंआइए बेटियों का कल बेहतर बनाने के लिए उनका आज सवारे।
बालिका दिवस की शुभकामनायेंबेटियों को मत समझों भार,
ये है जीवन का आधार,
इनको भी अधिकार दो, बेटे जैसा प्यार दो।जिस घर में होता बेटियों का सम्मान, वह घर होता स्वर्ग समान
कैसे खाओगे उनके हाथ की रोटियां,
जब पैदा ही नहीं होने दोगे बेटियां..!देश को मिलकर आगे बढ़ाओं,
बेटी बचाओं-बेटी पढाओं
हैप्पी गर्ल चाइल्ड डेबिन बेटी कैसे चलेगा संसार,
ऐ मूर्खों ज़रा करों विचार,
अब भी वक्त है सम्भल जाओ,
बेटी बचाओ-बेटी पढाओं।ऐसा कोई काम नहीं, जो बेटियाँ न कर पाई है
बेटियां तो आसमान से, तारे तोड़ कर लाई है!
राष्ट्रीय बालिका दिवस का इतिहास? कैसे हुई इसकी शुरूआत
24 जनवरी को बालिका दिवस मनाने की शुरुआत भारत के महिला एवं विकास मंत्रालय ने वर्ष 2008 में की थी जिसका उद्देश्य बालिकाओं को सशक्त बनाना और उनके अधिकारों के प्रति उन्हें जागरूक करना था। इसके लिए 24 जनवरी की तारीख इसलिए भी चुनी गई क्योंकि वर्ष 1966 में इसी दिन नारी शक्ति की प्रतीक और आयरन लेडी के तौर पर जानी जाने वाली श्रीमती इंदिरा गांधी जी ने देश की पहली महिला प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ ली थी।
समाज में बालिकाओं के प्रति हो रहे अत्याचारों और फैली कुरीतियों को खत्म करने के लिए कई महान लोगो ने अपना पूरा जीवन खपा दिया। लेकिन अब भी समाज में बालिकाओं को हीन भावना से देखा जाता है और दुनिया भर में बालिकाओं के प्रति अपराध और शोषण भी खासा कम नहीं हुआ है ऐसे में बालिका दिवस मनाना और भी महत्वपूर्ण हो जाता है।
राष्ट्रीय बालिका दिवस 2025 की थीम (Theme)
हर साल नेशनल गर्ल चाइल्ड डे एक खास थीम के साथ मनाया जाता है, इस साल राष्ट्रीय बालिका दिवस 2025 की थीम अभी घोषित की जानी बाकी है। हालांकि साल 2023 में इसे ‘डिजिटल पीढ़ी, हमारी पीढ़ी, हमारा समय है अब- हमारा अधिकार, हमारा भविष्य‘ और 2022 में शिक्षा मंत्रालय द्वारा इसे ‘हमारी बेटी हमारी शान‘ थीम के साथ मनाया गया था।
इससे पहले वर्ष 2021 में इसे “डिजिटल पीढ़ी हमारी पीढ़ी” विषय के साथ मनाया गया था। 2020 का कार्यक्रम ‘मेरी आवाज हमारा समान भविष्य‘ विषय पर आधारित था और 2019 में इसे “उज्ज्वल कल के लिए लड़कियों का सशक्तिकरण” थीम के तहत मनाया गया।
कैसे मनाया जाता है बालिकाओं को समर्पित यह दिवस?
गर्ल चाइल्ड डे के मौके पर विभिन्न कार्यक्रमों जैसे बेटी बचाओ, बाल लिंगानुपात और इनके स्वास्थ्य पर जोर देते हुए कई जागरूकता कार्यक्रम चलाए जाते हैं। इसके साथ ही देश भर की सरकारें बालिकाओं की सुरक्षा और उनके लिए बेहतर वातावरण तैयार करने को लेकर नीतियां बनाने पर विचार विमर्श करती हैं।
पिछली साल 2022 में संस्कृति मंत्रालय ने आजादी के अमृत महोत्सव के तहत इस मौके पर रंगोली उत्सव ‘उमंग’ का आयोजन किया था। तो वहीं महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा यूनिसेफ के साथ मिलकर ‘कन्या महोत्सव‘ का भी आयोजन किया गया था।
अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस कब होता है?
वैश्विक स्तर पर प्रत्येक वर्ष 11 अक्टूबर को अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस (International Day of Girl Child) मनाया जाता है। इसे मनाए जाने शुरूआत वर्ष 2011 में संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) ने की थी जिसका मकसद दुनियाभर में लड़कियों को समान अधिकार देना और लैंगिक असमानता को खत्म करना है।
बालिका कल्याण के लिए सरकार द्वारा उठाये गये कदम कौन से है?
बीते वर्षों में भारत सरकार द्वारा लड़कियों के हालात को सुधारने के लिये अनेक कदम उठाये गए है, जिनमें से कुछ मुख्य अभियान और योजनाएं इस प्रकार हैं:
- सुकन्या समृद्धि योजना
- बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ
- धनलक्ष्मी योजना
- लाडली योजना
- सीबीएसई उड़ान योजना
- बालिका समृद्धि योजना
- लड़कियों के लिये मुफ्त या राजसहायता प्राप्त शिक्षा
- माध्यमिक शिक्षा के लिए लड़कियों के प्रोत्साहन की राष्ट्रीय योजना
● 03 जनवरी: सावित्रीबाई फुले की जयंती
● 06 जनवरी: गुरु गोविंद सिंह जयंती
● 12 जनवरी: राष्ट्रीय युवा दिवस (स्वामी विवेकानंद जयंती)
● 15 जनवरी: थल सेना दिवस
● 23 जनवरी: नेताजी सुभाष चन्द्र बोस जयंती
● 25 जनवरी: राष्ट्रीय मतदाता दिवस
● 26 जनवरी: गणतंत्र दिवस
● 30 जनवरी: शहीद दिवस (महात्मा गांधी पुण्यतिथि)